इससे बड़ी ख़बर कुछ नहीं :
धामी सरकार में तीन साल में 63 भ्रष्टाचारी गए जेल

सीएम धामी के राज मे उत्तराखंड में भ्रष्टाचारियों के लिए उनकी जगह सिर्फ जेल

उत्तराखंड में भ्रष्टाचारियों के लिए सिर्फ जेल ही ठिकाना, धामी राज में देखा ऐसा पहली बार

धामी जी के 3 साल मे भ्रष्टाचार पर प्रहार : जुलाई 2021 से अभी तक 54 लोग हुए ट्रैप, आठ अफसर और 55 कर्मचारियों की हुई गिरफ्तारी,

भ्रष्टाचार के मामलों में पिछले तीन साल के भीतर धामी सरकार की ओर से सख्त कार्रवाई की गई. पढ़े ये रिपोर्ट


अभी तक भ्रष्टाचार से जुड़े मामलों में धामी सरकार ने 63 लोगों को जेल भेजा

सीएम धामी के शपथ लेने के बाद से अभी तक 54 लोगों को विजिलेंस ट्रैप कर चुकी है (भ्रष्टाचार पर धामी का प्रहार }

भ्रष्टाचारियों पर कार्रवाई को लेकर धामी का संदेश, भ्रष्टाचार करने वाला छोटा हो या बड़ा, सभी को जेल की सलाखों के पीछे भेजा जाएगा

भ्रष्टाचार पर प्रहार : सीएम धामी के निर्देश पर टोल फ्री नम्बर 1064 और एप लॉन्च किया गया

सीएम धामी ने स्वयं विजिलेंस विभाग पर निगरानी रखी, और फिर भ्रष्टाचारियों के खिलाफ ताबड़तोड़ कार्रवाई शुरू हुई है

अभी तक 2024 में ही 16 ट्रैप की प्रक्रिया विजिलेंस की ओर से पूरी की गई। 21 भ्रष्टाचारियों को जेल भेजा गया है

धामी सरकार मे : 2023 में 18 ट्रैप 20 को जेल भेजा गया, 2022 में 14 ट्रैप में 15 और 2021 में छह ट्रैप में सात लोगों को जेल भेजा गया आईएएस से लेकर आईएफएस अधिकारी तक गए जेल

राज्य में न सिर्फ निचले स्तर पर अफसर, कर्मचारी जेल जा चुके हैं बल्कि आईएएस से लेकर आईएफएस अफसर तक जेल जा चुके हैं

भ्रष्टाचार से घिरे पूर्व आईएएस राम विलास यादव से लेकर आईएफएस आरबीएस रावत, किशनचंद तक जेल जा चुके हैं

कई पीसीएस, पुलिस और इंजीनियरिंग विभाग के अफसरों को भी धामी सरकार मे सलाखों के भीतर जाना पड़ा है.

भ्रष्टाचार के मामलों में तीन साल के भीतर सरकार की ओर से सख्त कार्रवाई की गई है। अभी तक भ्रष्टाचार से जुड़े मामलों में 63 लोगों को जेल भेजा जा चुका है। सीएम पुष्कर सिंह धामी के शपथ लेने के बाद से अभी तक 54 लोगों को विजिलेंस ट्रैप कर चुकी है। आठ अफसर और 55 कर्मचारियों को गिरफ्तार किया जा चुका है।
भ्रष्टाचारियों पर कार्रवाई को लेकर सीएम पुष्कर सिंह धामी सरकार ने संदेश दिया कि कि भ्रष्टाचार करने वाला छोटा हो या बड़ा, सभी को जेल की सलाखों के पीछे भेजा जाएगा। सीएम के निर्देश पर टोल फ्री नम्बर 1064 और एप लॉन्च किया गया। इसके अलावा सीएम की ओर से विजिलेंस विभाग की लगातार करीब से निगरानी की गई। इसी के बाद से भ्रष्टाचारियों के खिलाफ ताबड़तोड़ कार्रवाई शुरू हुई है। अभी तक 2024 में ही 16 ट्रैप की प्रक्रिया विजिलेंस की ओर से पूरी की गई। 21 भ्रष्टाचारियों को जेल भेजा गया है। इनमें दो बड़े अफसर और 19 कर्मचारी शामिल हैं। 2023 में भी 18 ट्रैप में 20 को जेल भेजा गया। 2022 में 14 ट्रैप में 15 और 2021 में छह ट्रैप में सात लोगों को जेल भेजा गया।
आईएएस से लेकर आईएफएस अधिकारी तक गए जेल

पिछले कुछ समय के भीतर राज्य में न सिर्फ निचले स्तर पर अफसर, कर्मचारी जेल जा चुके हैं। बल्कि आईएएस से लेकर आईएफएस अफसर तक जेल जा चुके हैं। भ्रष्टाचार से घिरे पूर्व आईएएस राम विलास यादव से लेकर आईएफएस आरबीएस रावत, किशनचंद तक जेल जा चुके हैं। इसके साथ ही कई पीसीएस, पुलिस और इंजीनियरिंग विभाग के अफसरों को भी सलाखों के भीतर जाना पड़ा है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here