राज्यपाल ने कहा कि चिकित्सकों और नर्सिंग स्टाफ सहित हम सभी की जिम्मेदारी है कि हम समाज के प्रत्येक व्यक्ति को दुर्घटनाओं को रोकने और ट्रॉमा चिकित्सा के संबंध में जागरुक करें।

राज्यपाल ने एम्स के ट्रॉमा विभाग के टोल फ्री नंबर 18001804278 व रक्तदान कैम्प का उद्घाटन किया।

राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से नि) ने एम्स ऋषिकेश में ‘वर्ल्ड ट्रॉमा डे’ के अवसर पर ट्रॉमा सप्ताह कार्यक्रम में प्रतिभाग किया

ऋषिकेश/राजभवन देहरादून 17 अक्टूबर, 2022

राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से नि) ने एम्स ऋषिकेश में ‘वर्ल्ड ट्रॉमा डे’ के अवसर पर ट्रॉमा सप्ताह कार्यक्रम में प्रतिभाग किया।

इस दौरान राज्यपाल ने एम्स के ट्रॉमा विभाग के टोल फ्री नंबर 18001804278 व रक्तदान कैम्प का उद्घाटन भी किया।

राज्यपाल ने कहा कि चिकित्सकों और नर्सिंग स्टाफ सहित हम सभी की जिम्मेदारी है कि हम समाज के प्रत्येक व्यक्ति को दुर्घटनाओं को रोकने और ट्रॉमा चिकित्सा के संबंध में जागरुक करें। राज्यपाल ने कहा कि उत्तराखंड में सड़क दुर्घटनाओं को कम करना एक बड़ी चुनौती है और इस चुनौती से निपटने के लिए व्यापक स्तर पर जन-जागरूकता अभियान चलाने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि इस अभियान में एसडीआरएफ, एनसीसी और रेडक्रॉस की टीमों के अलावा आशा कार्यकर्ताओं को भी शामिल किया जाना चाहिए।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए राज्यपाल ने कहा कि ट्रॉमा से होने वाली मृत्यु को रोकने के लिए हमें जनजागरूकता पर विशेष फोकस करना होगा। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड विषम भौगोलिक परिस्थितियों वाला राज्य है यहाँ दुर्घटना के दौरान दिए जाने वाले फस्ट एड के संबंध में जागरूकता बेहद जरूरी है। उन्होंने कहा कि सप्ताह भर तक चले इस कार्यक्रम के तहत विशेषज्ञ डॉक्टरों ने जगह-जगह जाकर लोगों को जागरूक किया है यह सराहनीय कार्य है।

एम्स ऋषिकेश द्वारा सप्ताह भर तक संचालित ट्रॉमा रथ द्वारा विभिन्न स्थानों पर आयोजित किए गए जन-जागरूकता कार्यक्रमों की राज्यपाल ने सराहना की और कहा कि एम्स ऋषिकेश द्वारा शीघ्र संचालित होने वाली हेली एम्बुलेंस और टेलिमेडिसिन सुविधा से विषम भौगोलिक परिस्थितियों वाले इस पहाड़ी राज्य में स्वास्थ्य से संबंधित चुनौतियों से निपटने में मदद मिलेगी।

इससे पूर्व एम्स की कार्यकारी निदेशक प्रोफेसर (डॉ.)मीनू सिंह ने राज्यपाल का स्वागत किया। उन्होंने बताया कि उत्तराखण्ड में अधिकतर मौतें दुर्घटनाओं के कारण होती हैं। ऐसे में एम्स का प्रयास है कि अधिक से अधिक लोगों को ट्रॉमा के प्रति सजग और जागरूक किया जाय। कार्यक्रम को दिल्ली एम्स के ट्रॉमा विभाग के एचओडी प्रोफेसर अमित गुप्ता ने भी संबोधित किया। उन्होंने राज्य में दुर्घटना मृत्यु दर कम करने के लिए सिस्टम को विकसित करने की आवश्यकता बताई और कहा कि इसके लिए राजमार्गों के निकट रहने वाले लोगों को प्रशिक्षित करने की आवश्यकता है। इससे पूर्व ट्रॉमा विभाग के विभागाध्यक्ष प्रो. कमर आजम ने सप्ताहभर तक संचालित ट्रॉमा रथ के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी दी। उन्होंने कहा कि ट्रॉमा के मामले दिन-प्रतिदिन बढ़ रहे हैं। कैंसर की तरह फैल रहे इस मामले में हमें ट्रॉमा जागरूकता और ट्रॉमा चिकित्सा को मजबूत करने की आवश्यकता है।

कार्यक्रम को मनोरोग विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. रवि गुप्ता, ट्रॉमा रथ के प्रभारी व सर्जन डॉक्टर मधुर उनियाल आदि ने भी संबोधित किया। संस्थान के जनसंपर्क अधिकारी हरीश मोहन थपलियाल के संचालन किया। इस अवसर पर एम्स के डॉक्टर्स व नर्सिंग स्टाफ सहित अन्य लोग उपस्थित रहे।

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